मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती.
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती…
काव्य डेस्क, नई दिल्ली
देश प्रेम और देश के लिए कुछ कर गुज़रने का जज़्बा हर नागरिक में होता है। हिंदी सिनेमा ने भी इस मोहब्बत और जज़्बे को बख़ूबी अभिव्यक्त किया है। आज भी देशभक्ति के कई ऐसे गाने हैं जो लोकप्रिय हैं। बदलते वक़्त के साथ इनकी लोकप्रियता में इज़ाफ़ा ही हुआ है। कुछ ऐसे बेशक़ीमती गीत है जो हर नागरिक को वतन के प्रति अपनी मोहब्बत का इज़हार करने के लिए अल्फ़ाज़ देते हैं। आज़ादी स्पेशल में पेश है लोकप्रिय देशभक्ति गीत –
‘मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती…’
यह गाना 1967 में आई फ़िल्म उपकार का है। मनोज कुमार ने यह फ़िल्म पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के नारे ‘जय जवान जय किसान’ के नारे को केंद्र में रखकर बनाई थी। इस गीत को क़लमबंद किया है जाने-माने गीतकार इन्दीवर ने। महेन्द्र कपूर ने अपनी दिलकश आवाज़ से इस गीत को अमर कर दिया। गीत को संगीत से सजाया है मशहूर संगीतकार जोड़ी कल्याणजी-आनंदजी ने। मनोज कुमार को जिन चुनिंदा फ़िल्मों की वजह से भारत कुमार कहा जाता था, उनमें उपकार भी थी। मनोज कुमार ने इस फ़िल्म को ख़ुद लिखा, अभिनय किया और डायरेक्ट भी किया। इस गीत को बहुत ही खूबसूरती से फ़िल्माया गया है।
गीत के बोल हैं –
‘मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती
मेरे देश की धरती…
बैलों के गले में जब घुंघरू जीवन का राग सुनाते हैं
ग़म कोस दूर हो जाता है खुशियों के कंवल मुस्काते हैं
सुनके रहट की आवाज़ें यूं लगे कहीं शहनाई बजे
आते ही मस्त बहारों के दुल्हन की तरह हर खेत सजे
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती
मेरे देश की धरती…
जब चलते हैं इस धरती पे हल ममता अंगड़ाइयाँ लेती है
क्यूं ना पूजे इस माटी को जो जीवन का सुख देती है
इस धरती पे जिसने जनम लिया, उसने ही पाया प्यार तेरा
यहां अपना पराया कोई नहीं है सब पे है मां उपकार तेरा
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती
मेरे देश की धरती…
ये बाग़ है गौतम नानक का खिलते हैं चमन के फूल यहां
गांधी, सुभाष, टैगोर, तिलक, ऐसे हैं अमन के फूल यहां
रंग हरा हरी सिंह नलवे से रंग लाल है लाल बहादुर से
रंग बना बसंती भगत सिंह रंग अमन का वीर जवाहर से
मेरे देश की धरती सोना उगले, उगले हीरे मोती
मेरे देश की धरती…
यूट्यूब पर मौजूद इस गीत को यहां सुनें –