सुनारिया जेल में दुष्कर्म की सजा काट रहा राम रहीम जेल में सत्संग कराना चाहता था। इसके लिए उसने जेल के अधिकारियों के समक्ष भी प्रस्ताव रखा था। मगर जेल अधिकारियों ने सत्संग कराने से इनकार कर दिया था। यहीं नहीं राम रहीम लोगों से मिलकर अपना दर्द बांटना चाहता था। प्रतिदिन जेल में राम रहीम कड़ी मेहनत कर रहा है। जेल से जमानत पर आए एक दुष्कर्म के आरोपी ने यह खुलासा किया है।
डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को सीबीआई की विशेष अदालत ने पंचकूला में 25 अगस्त को रेप का दोषी करार दिया था। 28 अगस्त को जेल में ही अदालत लगाकर गुरमीत को दो मामलों में 10-10 साल की सजा सुनाई थी। यह सजा बीस साल तक चलेगी। जेल में राम रहीम को स्पेशल बैरक में रखा गया है।
जेल से जमानत पर आए एक दुष्कर्म के आरोपी ने बताया कि कुछ दिन पूर्व ही जेल में ही एक कार्यक्रम के दौरान कुछ समय के लिए ही उसकी मुलाकात रामरहीम से हुई थी। उसने बताया कि जेल में राम रहीम आलू, बैगन से लेकर अन्य सब्जियों की बुआई करता है। राम रहीम ने अपना दर्द जेल से बाहर निकलकर लोगों से बांटने की बात कहीं थी। साथ ही उसने जेल के अधिकारियों से जेल में बंदियों के लिए सत्संग का आयोजन करने का प्रस्ताव रखा था। मगर जेल के अधिकारियों ने प्रस्ताव को स्वीकार नहीं किया था। जिसके कारण सत्संग आयोजित नहीं हो सका था।
अलग बैरक में रखा गया है राम रहीम को
राम रहीम को जेल में अलग बैरक में रखा गया है। हालांकि उसके साथ पांच छह बंदी और भी है। पंद्रह दिन पूर्व राम रहीम ने जेल मंत्री कृष्ण लाल पंवार से अपने पोत व पोती से भी मिलने की गुहार लगाई थी मगर जेल मंत्री ने विभागीय अधिकारियों की अनुमति के बाद ही मिलने देने की बात कहीं थी।